उत्तराखंड में नेताओं और अफसरशाही में तकरार कोई नई बात नहीं है. समय-समय पर नेता इसको लेकर आवाज बुलंद करते रहे हैं. लेकिन कुछ समय सियासत होने के बाद मामला सिफर निकलता है. जबकि मंत्रियों को सचिव स्तर के अधिकारियों की एसीआर लिखने का अधिकार देने की मांग उठती रही है. सूबे में अफसरशाही और मंत्रिमंडल के सदस्यों के बीच की कड़वाहट अक्सर बयानों से जाहिर होती रही है.सतपाल महाराज उठा चुके हैं आवाज: कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज का पिछले कुछ समय से अधिकारियों की एसीआर लिखने का अधिकार मांगना इसी का प्रतिफल कहा जा सकता है. बड़ी बात यह है कि मुख्यमंत्री अपने इस वरिष्ठ मंत्री की मांग को दरकिनार करते हुए दिखाई देते रहे हैं. यही नहीं सरकार के बाकी मंत्री भी अपने अधिकारों को बढ़ाने से जुड़े इस मुद्दे पर खामोशी साधे हुए हैं. हालांकि अफसरों पर मंत्रियों की लगाम लगाने से जुड़े इस मुद्दे के ऐसे कई पहलू हैं, जो अफसरों की सरकार पर जकड़ को जाहिर करते हैं.